Chanakya Niti: आचार्य चाणक्य की गिनती भारत के श्रेष्ठ विद्वानों में होती है। उन्होंने अपने स्वतंत्र विचारों और ज्ञान के बल पर इतिहास की धारा ही बदल दी। आचार्य चाणक्य को कौटिल्य और विष्णुगुप्त के नाम से भी जाना जाता था। वे बचपन से ही कुशाग्र बुद्धि के धनी थे। उन्होंने विभिन्न विषयों जैसे धर्म, समाज, अर्थव्यवस्था, राजनीति आदि पर खुलकर अपने विचार व्यक्त किए। यदि कोई व्यक्ति आचार्य चाणक्य के बताए गए मार्गों पर चलता है। तो उसे जीवन में सफलता अवश्य मिलेगी। आचार्य चाणक्य स्त्रियों के प्रति बहुत उदार थे। उन्होंने महिलाओं के बारे में बहुत कुछ कहा जो हमें नीतिशास्त्र (Chanakya Niti) में मिलता है। आचार्य चाणक्य ने महिलाओं के कई ऐसे गुणों के बारे में बताया जिनमें वे पुरुषों से आगे हैं। ऐसे में आइए जानते हैं महिलाओं के उन गुणों के बारे में जिनमें वो पुरुषों को पीछे छोड़ देती हैं।
आचार्य चाणक्य के अनुसार महिलाएं पुरुषों की तुलना में अधिक खाना खाती हैं। उन्होंने एक जगह इसका जिक्र करते हुए लिखा- ‘स्त्रीणां दिव्गुणा आहारो’ यानी पुरुषों की तुलना में महिलाओं को दोगुनी भूख लगती है।
आचार्य चाणक्य ने कहा है कि महिलाएं पुरुषों से ज्यादा बुद्धिमान होती हैं। उनकी बुद्धि कई तरह से पुरुषों से बेहतर काम करती है। वे पुरुषों की तुलना में अधिक चतुर, बुद्धिमान हैं। महिलाएं बिना किसी डर के हर समस्या का सामना करती हैं।
चाणक्य के अनुसार महिलाएं पुरुषों की तुलना में आठ गुना अधिक कामुक होती हैं। पुरुषों की तुलना में महिलाओं में कामुकता की शक्ति अधिक होती है। इसी कारण आचार्य ने स्त्रियों को पुरुषों से ज्यादा कामुक बताया।
आचार्य चाणक्य के अनुसार महिलाएं पुरुषों की तुलना में अधिक साहसी होती हैं। चाणक्य नीति में वे लिखते हैं साहसं षड्गुणं’ अर्थात उनके भीतर साहस की शक्ति पुरुषों की तुलना में 6 गुना अधिक है। स्ट्रेस टॉलरेंस के मामले में भी ये पुरुषों से आगे हैं।
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