Happy Akshaya Tritiya 2021: अक्षय तृतीया 2021 इस साल 14 मई को पड़ रही है। जानते हैं पूजा विधी, समय और हिंदू त्योहार के बारे में। इसके इतिहास और महत्व के बारे में पढ़ने के लिए नीचे स्क्रॉल करें।
अक्षय तृतीया है। यह हिंदुओं का एक वार्षिक वसंत त्योहार है . जो हिंदू माह वैशाख के शुक्ल पक्ष के तीसरे चंद्र दिवस को मनाया जाता है। यह हिंदू समुदाय के लिए एक अत्यंत शुभ दिन है। यह माना जाता है कि इस दिन किए गए अच्छे कर्मों का फल कभी कम नहीं होता है।
14 मई शुक्रवार को अक्षय तृतीया मनाई जाएगी। वैशाख माह शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि पर हर साल अक्षय तृतीया का पवित्र पर्व मनाया जाता है। कोई भी शुभ कार्य इस तिथि पर इस तिथि पर किया जाता है। वह सफल होता है। और यही वजह है की विवाह, गृह प्रवेश, नया व्यापार, धार्मिक अनुष्ठान और पूजा-पाठ इस तिथि को करते हैं। यह तिथि सोना खरीदने के लिए बहुत ही शुभ है।
Happy Akshaya Tritiya 2021: तिथि और समय / Akshaya Tritiya 2021: Date and Time
तृतीया शुरू- 14 मई, 2021 4:08 बजे
तृतीया समाप्त- 15 मई, 2021, सुबह 6:29 बजे
पूजा मुहूर्त- सुबह 06:17 बजे से दोपहर 12:15 बजे तक
समय 5 बजे। 57 मिनट
सोना खरीदने के लिए शुभ मुहूर्त / Auspicious time to buy gold
13 मई, 2021 सुबह 4:08 से सुबह 6:17 तक
14 मई, 2021 6:17 से 15 मई, 2021 6:17 बजे तक
अक्षय तृतीया 2021: इतिहास / Akshaya Tritiya History
यह दिन कई कारणों से महत्वपूर्ण है / रोचक बाते
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- इस दिन वेद व्यास जी ने सुनाया और भगवान गणेश ने महान महाकाव्य महाभारत लिखना शुरू किया।
- भागीरथ के प्रयास पूरे हुए और इस दिन और पवित्र नदी, गंगा स्वर्ग से पृथ्वी पर उतरी।
- कुबेर की पूजा से प्रसन्न होकर देवी लक्ष्मी ने उन्हें भगवान के कोषाध्यक्ष का पद सौंपा।
- भगवान विष्णु के छठे अवतार भगवान परशुराम का जन्म इसी दिन हुआ था।
- देवी अन्नपूर्णा का जन्म इसी दिन हुआ था।
- सुदामा, भगवान कृष्ण के वंचित दोस्त को धन से सम्मानित किया गया था।
- जब पांडव अपने वनवास पर थे, तो भगवान कृष्ण ने उन्हें इस दिन अक्षय पात्र भेंट किया था।
- जैन धर्म का पालन करने वाले लोग इस दिन को अपने पहले भगवान, भगवान आदिनाथ की याद में भक्ति के साथ मनाते हैं।
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अक्षय तृतीया 2021: महत्व / Akshaya Tritiya Importance 2021
इस दिन को त्रेता युग की शुरुआत माना जाता है। अक्षय तृतीया को सौभाग्य का प्रतीक माना जाता है। कहा जाता है कि इस दिन सूर्य और चंद्रमा अपनी सर्वश्रेष्ठ ग्रह स्थिति में होते हैं। कहा जाता है कि इस दिन शरीर और मन दोनों को शुद्ध किया जाता है।
अक्षय तृतीया 2021: पूजा विधि / Akshaya Tritiya Puja Vidhi 2021
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- भक्त पवित्र स्नान करते हैं। पवित्र अग्नि में जौ चढ़ाते हैं।
- इस दिन देवी लक्ष्मी और भगवान कुबेर के साथ भगवान विष्णु की पूजा की जाती है।
- विभिन्न मंत्रों का जाप करें। ‘विष्णु सहस्त्रनाम’ की सबसे अधिक जाप की जाती है।
- पवित्र पौधा तुलसी का जल सभी पर छिड़का जाता है।
- अक्षत, फूल और मिठाई का भोग भगवान को चढ़ाया जाता है।
- गरीबों को चावल, फल और कपड़े बांटे जाते हैं।
- भगवान कृष्ण के भक्त देवता पर चंदन का लेप लगाते हैं।
- गन्ने का रस पीने से जैनों का साल भर का तपस्या खत्म हो जाता है।
- कई लोग इस दिन सोना खरीदना भी शुभ मानते हैं।
Happy Akshaya Tritiya 2021: अक्षय तृतीया के दिन सोना क्यों खरीदते हैं?
अक्षय तृतीया कब है: ज्योतिषीय दृष्टि से चार अबूझ व स्वयंसिद्ध मुहूर्त चैत्र शुक्ल प्रतिपदा (Chaitra Shukla Pratipada), अक्षय तृतीया (Akshaya Tritiya), दशहरा (Dussehra) तथा दीवाली (Diwali)। जिसमें किया गया कोई भी कार्य चिर स्थाई एवं शुभ माना जाता है। अक्षय का मतलब जिसका क्षय न हो। अक्षय तृतीया भगवान परशुराम जी का जन्मदिन होने के की वजह से परशुराम तिथि और चिरंजीवी तिथि भी कहलाती है।
अक्षय तृतीया से ही त्रेता युग (Treta Yug) का आरंभ भी माना गया हैं। अतः युगादितिथि (Yugadithithi) भी इसे कहा गया है। इस तिथि को किए गए कार्यों का अक्षय फल मिलता है। इस तिथि को परशुराम जी (Parashurama) का अवतरण व ब्रहमा जी के पुत्र अक्षय कुमार (Akshay Kumar) का जन्म भी इसी दिन माना जाता है। अक्षय तृतीया एक सर्वसिद्ध मुहूर्त जिस दिन पंचाग (Panchag) देखे बिना कोई भी मांगलिक शुभ कार्य किया जा सकता है। नई संस्था या नए व्यवसाय की नींव रखी जा सकती है।
यह मान्यता है की भौतिक संसाधन अगर इस दिन जुटाएं तो हमारे जीवन में वे हमेशा बने रहते हैं। तिथि को नया काम शुरू करने, भौतिक संसाधनों की खरीदारी जैसे बर्तन, सोना, चांदी जैसी अन्य कीमती वस्तुओं को खरीदना शुभ माना गया है।
साथ-ही-साथ ऐसी भी मान्यता है की खरीदा गया सोना आने वाली पीढ़ियों के साथ बढ़ता चला जाता है। सूरज की किरणे इस दिन काफी तेज होती है।
यदि आप इस तिथि को सोना नहीं खरीद पाते या पाए तो जीवन में आने वाली परेशानियां को दान-पुण्य करके कर सकते हैं।
अक्षय तृतीया शुभ मुहूर्त / Akshaya Tritiya Shubh Muhurat
अक्षय तृतीया आरंभ : 14 मई 2021 को प्रात: 05 बजकर 38 मिनट से
अक्षय तृतीया तिथि समाप्ति: 15 मई 2021 को प्रात: 07 बजकर 59 मिनट तक
तृतीया पूजा शुभ मुहूर्त: प्रात: 05 बजकर 38 मिनट से दोपहर 12 बजकर 18 मिनट तक
अवधि: 06 घंटा 40 मिनट
Happy Akshaya Tritiya 2021: करे यह उपाय धन की नहीं होगी कमी
बुधादित्य योग
बहुत प्रभावशाली संयोग अक्षय तृतीया पर ग्रहों के मिलने से बन रहा है। सूर्य वृष राशि में इस दिन प्रवेश करेंगे। बुधादित्य योग का निर्माण जहां बुध ग्रह के साथ मिलकर वृष करेंगे। शुक्र ग्रह भी वृष राशि में मौजूद हैं। चंद्रमा इस तिथि को उच्च राशि में होंगे।
धन योग
चंद्रमा का अक्षय तृतीया पर शुक्र के साथ शुक्रवार को वृष राशि में गोचर धन, समृद्धि और निवेश के लिए बेहद ही लाभदायक है। मिथुन राशि में चंद्रमा संध्या काल में प्रवेश करेगा। इस समय मिथुन राशि में मंगल का संचार हो रहा है। ऐसे में मिथुन राशि में चंद्रमा के आने से धन योग का निर्माण होगा।
करे यह उपाय
अक्षय तृतीया के दिन 11 कौड़ियां लेकर उन्हें किसी लाल कपड़े में बांधकर पूजा के स्थान पर रख दें। अगले दिन नहाने के बाद अपनी तिजोरी में इन कौड़ियों को रख लें। इससे आपकी आपकी आर्थिक परेशानियां दूर व लक्ष्मी की कृपा बरसने लगेगी।
नारियल धन की देवी लक्ष्मी माता का सबसे प्रिय है। एक नारियल लाकर क्षय तृतीया के दिन मां लक्ष्मी के सामने स्थापित करें। इससे घर में धन-धान्य की कमी नहीं होगी।
अगर संतान का विवाह नहीं हो पा रहा है। विवाह में देरी व योग्य वर अथवा वधु नहीं मिल रहा है। तो इस तिथि को आस-पास होने वाली शादी में कन्या दान जरूर करें। इसे संतान के विवाह के योग बनेंगे।
इस तिथि को दान का अक्षय फल मिलता है। तरों की आत्मा की शांति के लिए दान अवश्य करे। जरूरतमंद लोगों को जरूरत की चीजे दान करे। आर्थिक स्थिति को मजबूती मिलेगी।
सावधानियां
- किसी को दुख न पहुंचाए।
- गलत कार्य न करे।
- अपशब्द न कहे।
- गुस्सा न करें
- सात्विक भोजन का आहार करे।